For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

महाबुद्ध से शिष्य ने पूछा, “भगवन! समाज में असत्य का रोग फैलता ही जा रहा है। अब तो इसने बच्चों को भी अपनी गिरफ्त में लेना शुरू कर दिया है। आप सत्य की दवा से इसे ठीक क्यों नहीं कर देते?”

महाबुद्ध ने शिष्य को एक गोली दी और कहा, “शीघ्र एवं सम्पूर्ण असर के लिये इसे चबा-चबाकर खाओ, महाबुद्धि।”

महाबुद्धि ने गोली अपने मुँह में रखी और चबाने लगा। कुछ ही क्षण बाद उसे जोर की उबकाई आई और वो उल्टी करने लगा। गोली के साथ साथ उसका खाया पिया भी बाहर आ गया। वो बोला, “प्रभो ये गोली तो नीम से भी लाख गुना कड़वी थी। ये कैसी ठिठोली थी प्रभो।”

महाबुद्ध बोले, “सच भी ऐसा ही है। यदि मैं समाज को सब कुछ सच सच बता भी दूँ तो वो उस पर कभी विश्वास नहीं करेगा और जो थोड़ा बहुत सच वो जानता और मानता है उस पर से भी उसका विश्वास उठ जायेगा।”

“तो असत्य का ये रोग समाज से कैसे मिटेगा प्रभो।”

“हमें झूठ के खोल में लपेटकर सच समाज तक पहुँचाना होगा। ताकि उसका कड़वापन खत्म हो जाय।”

“कैसे भगवन?”

“कथा लिखो महाबुद्धि। कथा लिखो।”   

-------------

(मौलिक एवं अप्रकाशित)

Views: 734

Comment

You need to be a member of Open Books Online to add comments!

Join Open Books Online


सदस्य कार्यकारिणी
Comment by rajesh kumari on February 6, 2017 at 9:08pm

सुन्दर सन्देश प्रद लघु कथा के लिए बहुत बहुत बधाई आद० धर्मेन्द्र जी 


सदस्य कार्यकारिणी
Comment by मिथिलेश वामनकर on February 6, 2017 at 9:04pm
बहुत बढ़िया लघुकथा लिखी है आप ने। बधाई। सादर

सदस्य टीम प्रबंधन
Comment by Saurabh Pandey on February 6, 2017 at 12:17pm

आसन्न बोधिसत्व असार-संसार में का स्वागत है ! 

शुभ-शुभ

Comment by Mohammed Arif on February 5, 2017 at 6:15pm
आदरणीय धर्मेन्द्र कुमार जी, आदाब ! संदेशप्रद लघुकथा के लिए बधाई स्वीकार करें ।
Comment by Samar kabeer on February 5, 2017 at 5:52pm
जनाब धर्मेन्द्र कुमार सिंह जी आदाब,बहुत अच्छी तरकीब सुझाई,'कथा लिखो महाबुद्धि।कथा लिखो ।इस बहतरीन संदेशप्रद लघुकथा के लिये दिल से बधाई स्वीकार करें ।
Comment by Dr. Vijai Shanker on February 5, 2017 at 12:03pm
“कथा लिखो महाबुद्धि। कथा लिखो।”
बिल्कुल सही मार्ग सुझाया है ,इस कथा के माध्यम से। जो काम छोटी छोटी कथाएं , बोथ - कथाएं , लोक - कथाऐं कर सकती हैं , हैं वह बड़े बड़े उपदेश और क़ानून नहीं कर पाते हैं। कथाएं उपदेशों से कहीं अधिक गहरा प्रभाव छोड़तीं हैं , विशेषतः बच्चों पर। अतः विद्वत जनों को यही मार्ग अपनाना चाहिए। पर कथा स्वयं निस्वार्थ लिखी हुयी होनी और लगनी चाहिए अन्यथा वह प्रभावी नहीं होती है।
बहुत सुब्दार एवं सार्थक प्रस्तुति आदरणीय धर्मेंद्र कुमार सिंह , जी बधाई , सादर।

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Activity


सदस्य कार्यकारिणी
मिथिलेश वामनकर replied to मिथिलेश वामनकर's discussion ओबीओ मासिक साहित्यिक संगोष्ठी सम्पन्न: 25 मई-2024
"धन्यवाद"
11 hours ago

सदस्य कार्यकारिणी
मिथिलेश वामनकर replied to मिथिलेश वामनकर's discussion ओबीओ मासिक साहित्यिक संगोष्ठी सम्पन्न: 25 मई-2024
"ऑनलाइन संगोष्ठी एक बढ़िया विचार आदरणीया। "
11 hours ago
KALPANA BHATT ('रौनक़') replied to मिथिलेश वामनकर's discussion ओबीओ मासिक साहित्यिक संगोष्ठी सम्पन्न: 25 मई-2024
"इस सफ़ल आयोजन हेतु बहुत बहुत बधाई। ओबीओ ज़िंदाबाद!"
18 hours ago

सदस्य टीम प्रबंधन
Dr.Prachi Singh replied to मिथिलेश वामनकर's discussion ओबीओ मासिक साहित्यिक संगोष्ठी सम्पन्न: 25 मई-2024
"बहुत सुंदर अभी मन में इच्छा जन्मी कि ओबीओ की ऑनलाइन संगोष्ठी भी कर सकते हैं मासिक ईश्वर…"
Sunday

सदस्य कार्यकारिणी
मिथिलेश वामनकर posted a discussion

ओबीओ मासिक साहित्यिक संगोष्ठी सम्पन्न: 25 मई-2024

ओबीओ भोपाल इकाई की मासिक साहित्यिक संगोष्ठी, दुष्यन्त कुमार स्मारक पाण्डुलिपि संग्रहालय, शिवाजी…See More
Sunday
Richa Yadav replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-167
"आदरणीय जयनित जी बहुत शुक्रिया आपका ,जी ज़रूर सादर"
Saturday
Richa Yadav replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-167
"आदरणीय संजय जी बहुत शुक्रिया आपका सादर"
Saturday
Richa Yadav replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-167
"आदरणीय दिनेश जी नमस्कार अच्छी ग़ज़ल कही आपने बधाई स्वीकार कीजिये गुणीजनों की टिप्पणियों से जानकारी…"
Saturday
Aazi Tamaam replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-167
"बहुत बहुत शुक्रिया आ सुकून मिला अब जाकर सादर 🙏"
Saturday
Euphonic Amit replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-167
"ठीक है "
Saturday
Aazi Tamaam replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-167
"शुक्रिया आ सादर हम जिसे अपना लहू लख़्त-ए-जिगर कहते थे सबसे पहले तो उसी हाथ में खंज़र निकला …"
Saturday
Euphonic Amit replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-167
"लख़्त ए जिगर अपने बच्चे के लिए इस्तेमाल किया जाता है  यहाँ सनम शब्द हटा दें "
Saturday

© 2024   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service