For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

खुशियाँ और गम, ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार के संग...

ओपन बुक्स ऑनलाइन के सभी सदस्यों को प्रणाम, बहुत दिनों से मेरे मन मे एक विचार आ रहा था कि एक ऐसा फोरम भी होना चाहिये जिसमे हम लोग अपने सदस्यों की ख़ुशी और गम को नजदीक से महसूस कर सके, इसी बात को ध्यान मे रखकर यह फोरम प्रारंभ किया जा रहा है, जिसमे सदस्य गण एक दूसरे के सुख और दुःख की बातो को यहाँ लिख सकते है और एक दूसरे के सुख दुःख मे शामिल हो सकते है |

धन्यवाद सहित
आप सब का अपना
ADMIN
OBO

Views: 71887

Reply to This

Replies to This Discussion

dhanyavaad admin ji
Dushyant ji, namaskaar.

Nayee job ke liye aapko hardik badhayee. Hamari shubhkamna hai aap jeevan ke har kshetra mein nayee oochayeeyo ko par kare.
bahut bahut badhai ho dushyant jee.......ishwar se prarthana hai ki wo aapke upar isi tarah khusiyon ki barsaat karte rahen................
अभी अभी पता चला है कि आज आदरणीय बब्बन पाण्डेय जी कि शादी की सालगिरह है , ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार के तरफ से मैं श्री / श्रीमती पाण्डेय को दीर्घ ,सफल वैवाहिक जीवन की कामना करता हू, बहुत बहुत बधाई बब्बन पाण्डेय जी,
shaadi ki saalgirah bahut bahut mubarak ho baban bhaiya.......

Baban Pandey ji ki shadi ke saalgirah par dhero badhayee.
मित्रों आज OBO के प्रधान संपादक आदरणीय श्री योगराज प्रभाकर जी की शादी की सालगिरह है.

मै उन्हें दिल से मुबारक बाद देता हूँ.

"बना रहे यह जोड़ा तब तक जब तक सूरज चाँद
अधरों पर मुसकान विराजे कभी ना होवे मांद
यह परिवार हुआ उनके ही आने से आबाद
बना रहे अब हम जैसों पर उनका आशीर्वाद"

योगी सर आपको एक बार फिर से शादी की सालगिरह की कोटिशः बधाइयाँ.
राणा भाई, इस काव्यात्मक बधाई के लिए बहुत बहुत धन्यवाद !
सत्य होता है हर सपना जहाँ आकर,
कल्पना लेती है आकार जिन्हे छूकर,

बंद दरवाजे खुल जाते है जहाँ जाकर,
दुश्मन भी आते है उनसे हारकर ,

हम भी गर्वान्वित है जिन्हे पाकर ,
वो है OBO संपादक योगराज प्रभाकर ,

पर उनकी भी है एक कमजोरी भयंकर ,
बन्ध जाती घिघी जब सामने हो मिसेज प्रभाकर,
ImageChef Sketchpad - ImageChef.com
OBO के प्रधान संपादक के १७ जुलाई १९८१ से लेकर अब तक के सफल वैवाहिक जीवन के लिये आज उनके २९ वें शादी की सालगिरह पर मेरे और पूरे ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार के तरफ से कोटिश: बधाई और ईश्वर से आपकी लम्बी वैवाहिक जीवन के लिये हम सब प्रार्थना करते है|
अमर रहे आप दोनों का प्यार ,
ये दिन आता हैं जीवन में हर साल ,
रवि गुरु आप दोनों को देता बधाई ,
हर दम आता रहे अच्छा अच्छा ख्याल ,
आपकी छत्र छाया में हम तो चले ,
यु ही तो मिलता रहे आपका प्यार ,
भैया योगराज प्रभाकर आपके साथ भाभी जी को भी आज के दिन मुबारक हो ,

RSS

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Activity

Sushil Sarna commented on Sushil Sarna's blog post दोहा पंचक. . . . .प्रेम
"आदरणीय मिथिलेश वामनकर जी सृजन पर आपकी मनोहारी प्रशंसा का दिल से आभार आदरणीय"
20 hours ago
Sushil Sarna posted a blog post

दोहा पंचक. . . . .मजदूर

दोहा पंचक. . . . मजदूरवक्त  बिता कर देखिए, मजदूरों के साथ । गीला रहता स्वेद से , हरदम उनका माथ…See More
yesterday

सदस्य कार्यकारिणी
मिथिलेश वामनकर commented on मिथिलेश वामनकर's blog post कहूं तो केवल कहूं मैं इतना: मिथिलेश वामनकर
"आदरणीय सुशील सरना जी मेरे प्रयास के अनुमोदन हेतु हार्दिक धन्यवाद आपका। सादर।"
yesterday
Sushil Sarna commented on मिथिलेश वामनकर's blog post कहूं तो केवल कहूं मैं इतना: मिथिलेश वामनकर
"बेहतरीन 👌 प्रस्तुति सर हार्दिक बधाई "
yesterday
Sushil Sarna commented on Sushil Sarna's blog post दोहा पंचक. . . . .मजदूर
"आदरणीय मिथिलेश वामनकर जी सृजन पर आपकी समीक्षात्मक मधुर प्रतिक्रिया का दिल से आभार । सहमत एवं…"
yesterday
Sushil Sarna commented on Sushil Sarna's blog post दोहा पंचक. . . . .मजदूर
"आदरणीय लक्ष्मण धामी जी सृजन आपकी मनोहारी प्रशंसा का दिल से आभारी है सर"
yesterday
Sushil Sarna commented on Sushil Sarna's blog post कुंडलिया. . .
"आदरणीय मिथिलेश वामनकर जी सृजन आपकी स्नेहिल प्रशंसा का दिल से आभारी है सर"
yesterday
Sushil Sarna commented on Sushil Sarna's blog post कुंडलिया. . .
"आदरणीय लक्ष्मण धामी जी सृजन के भावों को मान देने का दिल से आभार आदरणीय"
yesterday
Sushil Sarna commented on Sushil Sarna's blog post दोहा सप्तक ..रिश्ते
"आदरणीय मिथिलेश वामनकर जी के भावों को आत्मीय मान से सम्मानित करने का दिल से आभार आदरणीय"
yesterday
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' commented on Aazi Tamaam's blog post ग़ज़ल: ग़मज़दा आँखों का पानी
"आ. भाई आजी तमाम जी, अभिवादन। अच्छी गजल हुई है। हार्दिक बधाई।"
yesterday
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' commented on मिथिलेश वामनकर's blog post ग़ज़ल: उम्र भर हम सीखते चौकोर करना
"आ. भाई मिथिलेश जी, सादर अभिवादन। उत्तम गजल हुई है। हार्दिक बधाई।"
yesterday

सदस्य कार्यकारिणी
मिथिलेश वामनकर commented on AMAN SINHA's blog post काश कहीं ऐसा हो जाता
"आदरणीय अमन सिन्हा जी इस प्रस्तुति हेतु हार्दिक बधाई स्वीकार करें। सादर। ना तू मेरे बीन रह पाता…"
Sunday

© 2024   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service