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खुशियाँ और गम, ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार के संग...

ओपन बुक्स ऑनलाइन के सभी सदस्यों को प्रणाम, बहुत दिनों से मेरे मन मे एक विचार आ रहा था कि एक ऐसा फोरम भी होना चाहिये जिसमे हम लोग अपने सदस्यों की ख़ुशी और गम को नजदीक से महसूस कर सके, इसी बात को ध्यान मे रखकर यह फोरम प्रारंभ किया जा रहा है, जिसमे सदस्य गण एक दूसरे के सुख और दुःख की बातो को यहाँ लिख सकते है और एक दूसरे के सुख दुःख मे शामिल हो सकते है |

धन्यवाद सहित
आप सब का अपना
ADMIN
OBO

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वीनस जी, अभी पढ़ा। बच्ची रिद्धिमा के लिए प्रार्थना । नीरा जी और मैं सहयोग भेज रहे हैं।

सादर,

विजय निकोर

आदरणीय
सहयोग के लिए हार्दिक आभार

उफ्फ वीनस जी ,ये क्या पढ़ा मैंने विश्वास ही नहीं हो रहा इतनी प्यारी बच्ची इतनी परेशानी में!!! फेस बुक पर देख कर तबियत खुश हो जाती थी पर ये सब हो रहा है इसका पता ही नहीं था |भगवान से प्रार्थना करुँगी की जल्दी से जल्दी ये प्यारी बच्ची स्वस्थ हो और घर में खुशियाँ लौटें आप होंसला रखें| 

जन्म के १०वें दिन ही बीमारी के बारे में पता चल गया था
तब से लगातार हम जीवन की कामना कर रहे हैं

हार्दिक आभार

आदरणीय सर
अपार दुःख की इस घडी में प्रभु आपको साहस दे
आप इस दुःख को चीर कर ऎसे ही बाहर निकल आयेगे
जैसे प्रचंड सूर्य कोहरे को ध्वस्त कर देता है
आपका ये विवश मित्र इस समस्या से उबरने में आपके लिए दिल से दुआ करता है
और सभी समर्थ साथियों से करबद्ध निवेदन करता है कि खुले दिल से मदद करें
वो मासूम इस लड़ाई में विजेता बनकर रहेगी
मैं मालिक के दरबार में घुटने टेक कर अर्ज़ लगता हूँ
प्रभु हमे शक्ति दे
सामर्थ्य दे
जिससे हम सब मिलकर इस मुसीबत को पीछे धकेल दे
कृपिय सभी मित्र ज़रूर मदद करें
सदरल

हार्दिक आभार मनोज जी

अरे! अभी पता चला। भाई आपने फोन पर भी नहीं बताया। बच्ची जल्द से जल्द स्वस्थ हो जाय। अभी करता हूँ, साझा भी और सहयोग भी।

धन्यवाद
धर्मेन्द्र भाई इस अमूल्य सहयोग के लिए आभार ....

बेबी रिद्धिमा के लिए प्रभु से प्रार्थना है कि फूल से प्यारी बच्ची को शीघ्र स्वास्थ करे | मै अपनी फेस बुक वाल पर भीसभी सदस्यों की दुआओं और आवश्यक सहयोग की आकांक्षा के साथ इसे शेयर करता हूँ | प्रभु सब ठीक करेंगे | शुभ शुभ  

आदरणीय,
इस सहयोग के लिए हार्दिक आभार

आ. वीनस जी,  प्यारी बच्ची रिद्धिमा को अपनी सामर्थ्यनुसार आर्थिक मदत के संग उसके जल्द ही स्वस्थ हो होने की  नेक कामना अपने आराध्य एवं परमेश्वर से करता हूँ.

  ओबीओ परिवार के समस्त सदस्यों से नम्र निवेदन करता हूँ कि एक आख्यायिकानुसार  रामसेतु निर्माण का काम किसी अकेले की बस की बात नहीं थी, नल नील एवं हनुमान जी जैसी  शक्तियों ने बड़ी बड़ी शिलाओं को दूर दराज  से लाकर सेतु के  निर्माण में अपना योगदान दिया था वहीं छोटी सी गिलहरी ने  भी अपने सामर्थ्यानुसार  छोटे छोटे पत्थरों को किनारे पर रख कर सेतु के निर्माण में अपना हाथ बटाया था,   मर्यादा पुरुषोत्तम श्री रामचन्द्र जी  ने  गिलहरी के योगदान को हृदय से सराहा था. इस बात को ध्यान में रखकर अपने अपने सामर्थ्य नुसार सभी सदस्य  आर्थिक मदत के साथ साथ दुआओं से  प्यारी बच्ची रिद्धिमा की मदत कृपया अवश्य करें जिसकी उसे बेहद आवश्यकता  है.

परिवार के ही सदस्य आ. श्याम नारायन की कविता को यहाँ कोट करना चाहूँगा  

 आगे आओ हाथ बढाओ , साथी फँसे मुसीबत में |

 बूँद बूँद से सागर भरता , हाथ बँटाओ आफत में 

सादर 

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