For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

नारी (नवीन कुमार जैन)

स्नेह की धारा है वह, है वात्सल्य की मूर्ति
वीरुध वही,वन वही, कालिका की वो पूर्ति
राष्ट्र , समाज और परिवार को वो समर्पित
स्व - पर, हित को करती प्राण भी अर्पित
वाणी वही, गिरिजा वही, है दामिनी भी वह
कल्पना वो, प्रतिभा वही है कामिनी भी वह
किरन है वह, है सुभद्रा , है महादेवी भी वह
सृजक है वो समाज की समाजसेवी भी वह
है मदर टेरेसा, ऐनी बेसेन्ट, यशोदा भी वह
है अनैतिक समर में संघर्षरत,योद्धा भी वह
बोझ नहीं है , अबला नहीं, न द्वितीय है वह
वह धरा पर देवी रूप ,नारी, अद्वितीय वह
जननी वही , गृहणी वही , नंदिनी भी है वह
भगिनी वही , सती वही , संगिनी भी है वह
बरछी वही , कलम वही, तलवार भी है वह
कंचन वही, चाँदी वही , अलंकार भी है वह
शस्त्र भी वह, शास्त्र भी वह,शक्ति भी है वह
अस्त्र है वह,आस्था भी वह,भक्ति भी है वह
- नवीन कुमार जैन

Views: 796

Comment

You need to be a member of Open Books Online to add comments!

Join Open Books Online

Comment by Naveen kumar jain on March 9, 2017 at 5:56pm
हार्दिक आभार आदरणीय । प्रयासरत हूँ और सुधार करूँगा ।

सदस्य कार्यकारिणी
Comment by गिरिराज भंडारी on March 9, 2017 at 9:58am

आदरणीय नवीन भाई , नारी अस्मिता को समर्पित अच्छी रचना हुई है , हार्दिक बधाइयाँ । लय थोड़ी और सधती तो पढ़्ने मे और मज़ा आता ...

Comment by Naveen kumar jain on March 9, 2017 at 7:55am
हार्दिक आभार आदरणीय सत्यनारायण जी
Comment by Satyanarayan Singh on March 8, 2017 at 11:10pm

सुन्दर प्रस्तुति सादर बधाई आ. नवीन कुमार जी 

Comment by Naveen kumar jain on March 8, 2017 at 5:52pm
हार्दिक आभार आदरणीय सुरेन्द्र जी
Comment by Naveen kumar jain on March 8, 2017 at 5:52pm
हार्दिक आभार आदरणीय samar ji
Comment by Naveen kumar jain on March 8, 2017 at 5:51pm
हार्दिक आभार आदरणीय बासुदेव जी ,मुझे भी खुशी हुई कि आपने इस पटल पर भी मुझ अकिंचन का उत्साह वर्धन किया । इसी तरह अपना आर्शीवाद बनाएँ रखें ।
Comment by नाथ सोनांचली on March 8, 2017 at 4:23pm
आदरणीय नवीन जी नारी को समर्पित अच्छी रचना लिखी आपने। बधाई निवेदित है। सादर
Comment by Samar kabeer on March 8, 2017 at 4:06pm
जनाब नवीन जैन साहिब आदाब,नारी को समर्पित अच्छी रचना लिखी है,बधाई स्वीकार करें ।
Comment by बासुदेव अग्रवाल 'नमन' on March 8, 2017 at 2:29pm
आ0 नवीन जैन जी आपको इस पटल पर देख बहुत ही खुशी हुई। आपकी नारी को महिमा मण्डित करती इस रचना को नमन।

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Blogs

Latest Activity

Chetan Prakash replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 169 in the group चित्र से काव्य तक
"रिमझिम-रिमझिम बारिशें, मधुर हुई सौगात।  टप - टप  बूंदें  आ  गिरी,  बादलों…"
2 hours ago
अखिलेश कृष्ण श्रीवास्तव replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 169 in the group चित्र से काव्य तक
"हम सपरिवार बिलासपुर जा रहे है रविवार रात्रि में लौटने की संभावना है।   "
9 hours ago
अखिलेश कृष्ण श्रीवास्तव replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 169 in the group चित्र से काव्य तक
"कुंडलिया छंद +++++++++ आओ देखो मेघ को, जिसका ओर न छोर। स्वागत में बरसात के, जलचर करते शोर॥ जलचर…"
9 hours ago
सुरेश कुमार 'कल्याण' replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 169 in the group चित्र से काव्य तक
"कुंडलिया छंद *********** हरियाली का ताज धर, कर सोलह सिंगार। यौवन की दहलीज को, करती वर्षा पार। करती…"
10 hours ago

सदस्य टीम प्रबंधन
Saurabh Pandey replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 169 in the group चित्र से काव्य तक
"स्वागतम्"
19 hours ago

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी commented on लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर''s blog post सुखों को तराजू में मत तोल सिक्के-लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर'
"आदरणीय लक्ष्मण भाई अच्छी ग़ज़ल हुई है , बधाई स्वीकार करें "
yesterday

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी commented on सुरेश कुमार 'कल्याण''s blog post पूनम की रात (दोहा गज़ल )
"आदरणीय सुरेश भाई , बढ़िया दोहा ग़ज़ल कही , बहुत बधाई आपको "
yesterday

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी commented on गिरिराज भंडारी's blog post तरही ग़ज़ल - गिरिराज भंडारी
"आदरणीया प्राची जी , ग़ज़ल पर उपस्थित हो उत्साह वर्धन करने के लिए आपका हार्दिक आभार "
yesterday

सदस्य टीम प्रबंधन
Dr.Prachi Singh commented on गिरिराज भंडारी's blog post तरही ग़ज़ल - गिरिराज भंडारी
"सभी अशआर बहुत अच्छे हुए हैं बहुत सुंदर ग़ज़ल "
Wednesday
सुरेश कुमार 'कल्याण' posted a blog post

पूनम की रात (दोहा गज़ल )

धरा चाँद गल मिल रहे, करते मन की बात।जगमग है कण-कण यहाँ, शुभ पूनम की रात।जर्रा - जर्रा नींद में ,…See More
Monday

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी posted a blog post

तरही ग़ज़ल - गिरिराज भंडारी

वहाँ  मैं भी  पहुंचा  मगर  धीरे धीरे १२२    १२२     १२२     १२२    बढी भी तो थी ये उमर धीरे…See More
Monday

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी commented on गिरिराज भंडारी's blog post ग़ज़ल -मुझे दूसरी का पता नहीं ( गिरिराज भंडारी )
"आदरणीय लक्ष्मण भाई , उत्साह वर्धन के लिए आपका हार्दिक आभार "
Monday

© 2025   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service