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तरक्की [ लघु कथा ]

"'अरे छोरा छोरी आ जाओ  देखो कित्ती सारी चीज़ें मिली हैं आज..."कम्मो भिखारन अपनी जर्जर झुग्गी में कदम रखते हुए चिल्लाई

तीनों बच्चों ने उसे घेर लिया.

"सारा दिन बगल में टीवी देखना है बस्स ..माँ भीख मांगती फिरे ...., वो आज झंडे वाला दिन है ना , देखो क्या क्या मिला है ....लड्डू ,पूड़ी नमकीन ....."कम्मो झोले में से खाने के सामान की छोटी छोटी पौलीथीन की थैलियाँ निकालने  लगी .

कचरे से मिले एंड्राइड फोन के कवर पर हाथ फिराता, बारह साल का पप्पू बोला "अम्मा, तू धीरे धीरे ,एक एक करके झोले से थैलियाँ निकालना.. , और हम सब बोलेंगे ...और दिखाओ ...और दिखाओ ....."

बगल की झुग्गी में टीवी में चल रहा नेता जी का भाषण सारी झुग्गियों में गूँज रहा था . "हम तरक्की को हर घर ,हर झुग्गी तक पहुंचाएंगे . ....."

और बारिश से ठहने की कगार पर खड़ी कम्मो की झुग्गी के अन्दर चीथड़ों में सजी तरक्की पूरे जोश से नाच रही थी ...और दिखाओ. और दिखाओ ...... 

 

 मौलिक व् अप्रकाशित

 

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Comment by Seema Singh on August 20, 2015 at 4:45pm
स्तब्ध कर देती कथा के लिए हार्दिक शुभकामनाएँ प्रतिभा जी ।
Comment by Archana Tripathi on August 16, 2015 at 12:46am
अत्यंत प्रभावपूर्ण लघुकथा ।हार्दिक बधाई आपको ।
Comment by डॉ गोपाल नारायन श्रीवास्तव on August 15, 2015 at 7:19pm

अच्छा व्यंग उकेरा है . बधाई .

Comment by kanta roy on August 15, 2015 at 8:01am
तीर की तरह ही कलेजे के पार लगी है ये आपकी लघुकथा । बेहद प्रभावी हुई है तरक्की - तरक्की का नाच । तहेदिल से बधाई स्वीकार करें आप आदरणीया प्रतिभा जी ।
Comment by pratibha pande on August 13, 2015 at 6:15pm

आ० वीरेन्द्र  जी ,कथा की सराहना के लिए आपका आभार    

Comment by pratibha pande on August 13, 2015 at 6:11pm

कथा पर सार्थक टिपण्णी के लिए आपका आभार आ० तेजवीर सिंह जी

Comment by pratibha pande on August 13, 2015 at 6:09pm

आ० ओमप्रकाश जी ,आपने  कथा पर आकर मेरा उत्साहवर्धन किया ,मै हृदय से आभारी हूँ

Comment by pratibha pande on August 13, 2015 at 6:05pm

उत्साहवर्धन के लिए आपका आभार आ० सुलभ जी

Comment by pratibha pande on August 13, 2015 at 6:03pm

आ० मिथिलेश जी ,उत्साह वर्धन के लिए आपका हार्दिक आभार

Comment by pratibha pande on August 13, 2015 at 5:58pm

कथा पर आने और सराहना के लिए आपका ह्रदय से आभार आ० मनोज जी

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