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सतविन्द्र कुमार राणा's Discussions (3,238)

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"एक आशु प्रयास कोई घोड़ा है नहीं, गाड़ी कोसों दूर सफ़र जिन्दगी का मग़र , होता है भरपूर…"

सतविन्द्र कुमार राणा replied Jun 11, 2023 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-152

31 Jun 11, 2023
Reply by लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर'

"अर्थ सकल जो प्रेम के, जानें इनको जान दोहे जितने कह दिए, सम्माहित है ज्ञान।"

सतविन्द्र कुमार राणा replied Feb 13, 2022 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-136

22 Feb 13, 2022
Reply by लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर'

"सॉनेट (आशु प्रयास) कुछ दिल में कुछ घर में, कुछ खेतों के अंदर कुछ गाँव, गली, कूचे के…"

सतविन्द्र कुमार राणा replied Jan 15, 2022 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-135

82 Jan 16, 2022
Reply by Er. Ganesh Jee "Bagi"

"बहुत खूब आदरणीया, इतने दिन का लेखा जोखा। सादर"

सतविन्द्र कुमार राणा replied Jan 15, 2022 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-135

82 Jan 16, 2022
Reply by Er. Ganesh Jee "Bagi"

"सुन्दर कह दोहावली, याद कराते याद धामी जी इस याद का, याद रहेगा स्वाद।।"

सतविन्द्र कुमार राणा replied Jan 15, 2022 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-135

82 Jan 16, 2022
Reply by Er. Ganesh Jee "Bagi"

"आदरणीय रवि प्रभाकर जी, लघुकथा ने एक सृजक, चिंतक , आलोचक ही नहीं खोया, आपके रूप में म…"

सतविन्द्र कुमार राणा replied May 23, 2021 to खुशियाँ और गम, ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार के संग...

3552 Sep 14, 2024
Reply by अमीरुद्दीन 'अमीर' बाग़पतवी

"विनम्र श्रद्धांजलि!  भारी वक्त है, ईश्वर शीघ्र उबारें!"

सतविन्द्र कुमार राणा replied May 2, 2021 to खुशियाँ और गम, ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार के संग...

3552 Sep 14, 2024
Reply by अमीरुद्दीन 'अमीर' बाग़पतवी

"खुशी से ये जियादा और कम ऐसा भी होता है,लगे जो खास ही हमको कि ग़म ऐसा भी होता है। तुम…"

सतविन्द्र कुमार राणा replied Mar 27, 2021 to "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-129

330 Mar 27, 2021
Reply by Samar kabeer

"बहुत बढ़िया, सादर बधाई"

सतविन्द्र कुमार राणा replied Mar 14, 2021 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-125

17 Mar 14, 2021
Reply by लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर'

"सादर नमन, सुन्दर गीत सृजन"

सतविन्द्र कुमार राणा replied Mar 14, 2021 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-125

17 Mar 14, 2021
Reply by लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर'

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Nilesh Shevgaonkar replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-182
"आ. आज़ी तमाम भाई,मतला जैसा आ. तिलकराज सर ने बताया, हो नहीं पाया है. आपको इसे पुन: कहने का प्रयास…"
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"आ. भाई गिरिराज जी, सादर अभिवादन। बहुत खूबसूरत गजल हुई है। हार्दिक बधाई।"
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लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-182
"221 1221 1221 122**भटके हैं सभी, राह दिखाने के लिए आइन्सान को इन्सान बनाने के लिए आ।१।*धरती पे…"
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Tilak Raj Kapoor replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-182
"ग़ज़ल अच्छी है, लेकिन कुछ बारीकियों पर ध्यान देना ज़रूरी है। बस उनकी बात है। ये तर्क-ए-तअल्लुक भी…"
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Aazi Tamaam replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-182
"२२१ १२२१ १२२१ १२२ ये तर्क-ए-तअल्लुक भी मिटाने के लिये आ मैं ग़ैर हूँ तो ग़ैर जताने के लिये…"
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चली आयी है मिलने फिर किधर से१२२२   १२२२    १२२जो बच्चे दूर हैं माँ –बाप – घर सेवो पत्ते गिर चुके…See More
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"बहुत बहुत शुक्रिया आदरणीय निलेश सर ग़ज़ल पर नज़र ए करम का देखिये आदरणीय तीसरे शे'र में सुधार…"
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कुंडलिया. . .चमकी चाँदी  केश  में, कहे उमर  का खेल ।स्याह केश  लौटें  नहीं, खूब   लगाओ  तेल ।खूब …See More
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