For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

pratibha pande's Discussions (4,634)

Discussions Replied To (3200) Replies Latest Activity

"1. //दो दिन पहले ही यहाँ आई थी।// अगर 4 दिन पहले भी आई होती तो क्या फर्क पड़ता?//  ना…"

pratibha pande replied Sep 30, 2022 to "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-90 (विषय: प्रतीक्षा)

93 Sep 30, 2022
Reply by रवि भसीन 'शाहिद'

"अहिल्या "प्रभु के पाँव रखते ही पाषाण बनी अहिल्या अपने स्त्री रूप में आ गई और उसकी जन…"

pratibha pande replied Sep 30, 2022 to "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-90 (विषय: प्रतीक्षा)

93 Sep 30, 2022
Reply by रवि भसीन 'शाहिद'

"हार्दिक आभार। खास शैली जैसा तो कुछ नहीं है। ये अवश्य है कि इस विषय को लेकर एक विचार…"

pratibha pande replied Aug 31, 2022 to "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-89 (विषय: बाज़ार)

49 Aug 31, 2022
Reply by Chetan Prakash

"बाजार ____ सुबह उनकी चाय लेकर बेटा खुद आया था। साथ में उसका अपना कप भी था। दोनो कप ट…"

pratibha pande replied Aug 31, 2022 to "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-89 (विषय: बाज़ार)

49 Aug 31, 2022
Reply by Chetan Prakash

"हार्दिक आभार आदरणीय दयाराम मेठानी जी "

pratibha pande replied Aug 14, 2022 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-142

27 Aug 14, 2022
Reply by Usha Awasthi

"हार्दिक आभार आदरणीय भाई लक्ष्मण धामी जी"

pratibha pande replied Aug 14, 2022 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-142

27 Aug 14, 2022
Reply by Usha Awasthi

"इस सुन्दर रचना के लिये हार्दिक बधाई आदरणीया ऊषा अवस्थी जी"

pratibha pande replied Aug 14, 2022 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-142

27 Aug 14, 2022
Reply by Usha Awasthi

"देश प्रेम और जोश में पगी इस गीतिका के लिये हार्दिक बधाई आदरणीय"

pratibha pande replied Aug 14, 2022 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-142

27 Aug 14, 2022
Reply by Usha Awasthi

"इच्छा इस आशीष की, करते हम गोविन्दभारत हर मन में बसे, अधरों पर जय हिन्द।।// वाह बहुत…"

pratibha pande replied Aug 14, 2022 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-142

27 Aug 14, 2022
Reply by Usha Awasthi

"देश गौरव गान की सुन्दर रचना। बधाई आदरणीय "

pratibha pande replied Aug 14, 2022 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-142

27 Aug 14, 2022
Reply by Usha Awasthi

RSS

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Blogs

Latest Activity

Ravi Shukla commented on गिरिराज भंडारी's blog post ग़ज़ल - ( औपचारिकता न खा जाये सरलता ) गिरिराज भंडारी
"आदरणीय गिरिराज जी एक अच्छी गजल आपने पेश की है इसके लिए आपको बहुत-बहुत बधाई आदरणीय मिथिलेश जी ने…"
53 minutes ago
Ravi Shukla commented on मिथिलेश वामनकर's blog post ग़ज़ल: मिथिलेश वामनकर
"आदरणीय मिथिलेश जी सबसे पहले तो इस उम्दा गजल के लिए आपको मैं शेर दर शेरों बधाई देता हूं आदरणीय सौरभ…"
1 hour ago
Ravi Shukla commented on लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर''s blog post साथ करवाचौथ का त्यौहार करके-लक्ष्मण धामी "मुसाफिर"
"आदरणीय लक्ष्मण धामी जी बहुत अच्छी गजल आपने कहीं करवा चौथ का दृश्य सरकार करती  इस ग़ज़ल के लिए…"
1 hour ago
Ravi Shukla commented on धर्मेन्द्र कुमार सिंह's blog post देश की बदक़िस्मती थी चार व्यापारी मिले (ग़ज़ल)
"आदरणीय धर्मेंद्र जी बहुत अच्छी गजल आपने कहीं शेर दर शेर मुबारक बात कुबूल करें। सादर"
1 hour ago
Ravi Shukla commented on लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर''s blog post आदमी क्या आदमी को जानता है -लक्ष्मण धामी "मुसाफिर"
"आदरणीय लक्ष्मण धामी जी गजल की प्रस्तुति के लिए बहुत-बहुत बधाई गजल के मकता के संबंध में एक जिज्ञासा…"
1 hour ago
Ravi Shukla commented on Saurabh Pandey's blog post कौन क्या कहता नहीं अब कान देते // सौरभ
"आदरणीय सौरभ जी अच्छी गजल आपने कही है इसके लिए बहुत-बहुत बधाई सेकंड लास्ट शेर के उला मिसरा की तकती…"
1 hour ago
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-180
"आ. भाई मिथिलेश जी, सादर अभिवादन। प्रदत्त विषय पर आपने सर्वोत्तम रचना लिख कर मेरी आकांक्षा…"
16 hours ago
Chetan Prakash replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-180
"वो भी क्या दिन थे... आँख मिचौली भवन भरे, पढ़ते   खाते    साथ । चुराते…"
17 hours ago
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-180
"माता - पिता की छाँव में चिन्ता से दूर थेशैतानियों को गाँव में हम ही तो शूर थे।।*लेकिन सजग थे पीर न…"
19 hours ago

सदस्य कार्यकारिणी
मिथिलेश वामनकर replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-180
"वो भी क्या दिन थे सखा, रह रह आए याद। करते थे सब काम हम, ओबीओ के बाद।। रे भैया ओबीओ के बाद। वो भी…"
23 hours ago
Admin replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-180
"स्वागतम"
yesterday
धर्मेन्द्र कुमार सिंह posted a blog post

देवता चिल्लाने लगे हैं (कविता)

पहले देवता फुसफुसाते थेउनके अस्पष्ट स्वर कानों में नहीं, आत्मा में गूँजते थेवहाँ से रिसकर कभी…See More
yesterday

© 2025   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service