1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे
2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |
3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |
राजकिशोर मिश्र 'राज' प्रतापगढ़ी's Comments
Comment Wall (2 comments)
You need to be a member of Open Books Online to add comments!
Join Open Books Online
सदस्य कार्यकारिणीमिथिलेश वामनकर said…
आपका अभिनन्दन है.
ग़ज़ल सीखने एवं जानकारी के लिए
ग़ज़ल की कक्षा
ग़ज़ल की बातें
भारतीय छंद विधान से सम्बंधित जानकारी यहाँ उपलब्ध है
|
|
|
|
|
|
|
|
आप अपनी मौलिक व अप्रकाशित रचनाएँ यहाँ पोस्ट (क्लिक करें) कर सकते है.
और अधिक जानकारी के लिए कृपया नियम अवश्य देखें.
ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतुयहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |
ओबीओ पर प्रतिमाह आयोजित होने वाले लाइव महोत्सव, छंदोत्सव, तरही मुशायरा व लघुकथा गोष्ठी में आप सहभागिता निभाएंगे तो हमें ख़ुशी होगी. इस सन्देश को पढने के लिए आपका धन्यवाद.
Welcome to
Open Books Online
Sign Up
or Sign In
कृपया ध्यान दे...
आवश्यक सूचना:-
1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे
2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |
3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |
4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)
5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |
6-Download OBO Android App Here
हिन्दी टाइप
देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...
साधन - 1
साधन - 2
Latest Blogs
दोहा पंचक. . . . .
दोहा दशम. . . . रोटी
ग़ज़ल: उम्र भर हम सीखते चौकोर करना
ग़ज़ल: ग़मज़दा आँखों का पानी
"ओबीओ की 14वीं सालगिरह का तुहफ़ा"
कैसे खैर मनाएँ
दोहा पंचक. . . . .प्रेम
यह धर्म युद्ध है
कुंडलिया .... गौरैया
बनो सब मीत होली में -लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर'
काश कहीं ऐसा हो जाता
दोहा पंचक. . .
आँख मिचौली
ग़ज़ल -- दिनेश कुमार ( दस्तार ही जो सर पे सलामत नहीं रही )
दोहा पंचक. . . . .
ग़ज़ल -- दिनेश कुमार ( अदब की बज़्म का रुतबा गिरा नहीं सकता )
दोहा पंचक. . . . .नारी
ग़ज़ल -- दिनेश कुमार ( आप क्यूँ दूर दूर हैं हम से )
मेरे नाम की पाति
ग़ज़ल: सही सही बता है क्या
Latest Activity