Comments - मुआफ़ी- लघुकथा - Open Books Online2024-03-28T11:44:40Zhttp://www.openbooksonline.com/profiles/comment/feed?attachedTo=5170231%3ABlogPost%3A909041&xn_auth=noइस स्नेहिल प्रतिक्रिया के लिए…tag:www.openbooksonline.com,2018-01-15:5170231:Comment:9095992018-01-15T05:52:47.538Zविनय कुमारhttp://www.openbooksonline.com/profile/vinayakumarsingh
<p>इस स्नेहिल प्रतिक्रिया के लिए बहुत बहुत आभार आ मुहतरम समर कबीर साहब</p>
<p>इस स्नेहिल प्रतिक्रिया के लिए बहुत बहुत आभार आ मुहतरम समर कबीर साहब</p> इस स्नेहिल प्रतिक्रिया के लिए…tag:www.openbooksonline.com,2018-01-15:5170231:Comment:9097252018-01-15T05:52:21.866Zविनय कुमारhttp://www.openbooksonline.com/profile/vinayakumarsingh
<p>इस स्नेहिल प्रतिक्रिया के लिए बहुत बहुत आभार आ महेंद्र कुमार जी</p>
<p>इस स्नेहिल प्रतिक्रिया के लिए बहुत बहुत आभार आ महेंद्र कुमार जी</p> इस स्नेहिल प्रतिक्रिया के लिए…tag:www.openbooksonline.com,2018-01-15:5170231:Comment:9095982018-01-15T05:52:18.383Zविनय कुमारhttp://www.openbooksonline.com/profile/vinayakumarsingh
<p>इस स्नेहिल प्रतिक्रिया के लिए बहुत बहुत आभार आ सुरेंद्र नाथ सिंह जी</p>
<p>इस स्नेहिल प्रतिक्रिया के लिए बहुत बहुत आभार आ सुरेंद्र नाथ सिंह जी</p> इस स्नेहिल प्रतिक्रिया के लिए…tag:www.openbooksonline.com,2018-01-15:5170231:Comment:9095972018-01-15T05:51:24.973Zविनय कुमारhttp://www.openbooksonline.com/profile/vinayakumarsingh
<p>इस स्नेहिल प्रतिक्रिया के लिए बहुत बहुत आभार आ कल्पना भट्ट जी</p>
<p>इस स्नेहिल प्रतिक्रिया के लिए बहुत बहुत आभार आ कल्पना भट्ट जी</p> इस स्नेहिल प्रतिक्रिया के लिए…tag:www.openbooksonline.com,2018-01-15:5170231:Comment:9095952018-01-15T05:51:02.318Zविनय कुमारhttp://www.openbooksonline.com/profile/vinayakumarsingh
<p>इस स्नेहिल प्रतिक्रिया के लिए बहुत बहुत आभार आ अजय तिवारी साहब</p>
<p>इस स्नेहिल प्रतिक्रिया के लिए बहुत बहुत आभार आ अजय तिवारी साहब</p> बढ़िया लघुकथा है आ. विनय जी. ह…tag:www.openbooksonline.com,2018-01-15:5170231:Comment:9095912018-01-15T04:58:31.012ZMahendra Kumarhttp://www.openbooksonline.com/profile/Mahendra
<p>बढ़िया लघुकथा है आ. विनय जी. हार्दिक बधाई स्वीकार कीजिए. सादर.</p>
<p>बढ़िया लघुकथा है आ. विनय जी. हार्दिक बधाई स्वीकार कीजिए. सादर.</p> आद0 विनय कुमार जी सादर अभिवाद…tag:www.openbooksonline.com,2018-01-15:5170231:Comment:9095782018-01-15T00:42:53.603Zनाथ सोनांचलीhttp://www.openbooksonline.com/profile/SurendraNathSingh
<p>आद0 विनय कुमार जी सादर अभिवादन।बढिया लघुकथा है,मार्मिक।बहुत बहुत बधाई इसपर।</p>
<p>आद0 विनय कुमार जी सादर अभिवादन।बढिया लघुकथा है,मार्मिक।बहुत बहुत बधाई इसपर।</p> जनाब विनय कुमार जी आदाब,बहुत…tag:www.openbooksonline.com,2018-01-14:5170231:Comment:9094982018-01-14T06:56:53.843ZSamar kabeerhttp://www.openbooksonline.com/profile/Samarkabeer
<p>जनाब विनय कुमार जी आदाब,बहुत उम्दा लघुकथा है, इस प्रस्तुति पर बधाई स्वीकार करें ।</p>
<p>जनाब विनय कुमार जी आदाब,बहुत उम्दा लघुकथा है, इस प्रस्तुति पर बधाई स्वीकार करें ।</p> हृदय स्पर्शी लघुकथा कही है आप…tag:www.openbooksonline.com,2018-01-13:5170231:Comment:9094632018-01-13T14:54:25.526ZKALPANA BHATT ('रौनक़')http://www.openbooksonline.com/profile/KALPANABHATT832
<p>हृदय स्पर्शी लघुकथा कही है आपने आदरणीय विनय सर| बधाई स्वीकारें आदरणीय|</p>
<p>हृदय स्पर्शी लघुकथा कही है आपने आदरणीय विनय सर| बधाई स्वीकारें आदरणीय|</p> आदरणीय विनय जी, असाधारण सादगी…tag:www.openbooksonline.com,2018-01-13:5170231:Comment:9092642018-01-13T13:05:31.913ZAjay Tiwarihttp://www.openbooksonline.com/profile/AjayTiwari
<p>आदरणीय विनय जी, असाधारण सादगी के साथ आपके गद्य में असाधारण अभिव्यंजना की क्षमता भी है. कथा बहुत स्पर्शी है.हार्दिक बधाई. </p>
<p></p>
<p>आदरणीय विनय जी, असाधारण सादगी के साथ आपके गद्य में असाधारण अभिव्यंजना की क्षमता भी है. कथा बहुत स्पर्शी है.हार्दिक बधाई. </p>
<p></p>