Comments - अच्छे दिन ! - Open Books Online2024-03-29T10:32:42Zhttp://www.openbooksonline.com/profiles/comment/feed?attachedTo=5170231%3ABlogPost%3A738418&xn_auth=noआ० सरना भाईजी, प्रणाम! आप ज…tag:www.openbooksonline.com,2016-04-14:5170231:Comment:7572922016-04-14T06:35:44.055Zकेवल प्रसाद 'सत्यम'http://www.openbooksonline.com/profile/kewalprasad
<p><br/>आ० सरना भाईजी, प्रणाम! आप जैसे साहित्यिक मनीषियो व सुधीजनों के बीच रहकर यदि मैं कुछ लिख सका तो यह आपका ही स्नेह व परिश्रम है. उत्साहवर्धन एवं बधाई के लिये आपका तहेदिल से बहुत-बहुत शुक्रिया व आभार, सादर</p>
<p><br/>आ० सरना भाईजी, प्रणाम! आप जैसे साहित्यिक मनीषियो व सुधीजनों के बीच रहकर यदि मैं कुछ लिख सका तो यह आपका ही स्नेह व परिश्रम है. उत्साहवर्धन एवं बधाई के लिये आपका तहेदिल से बहुत-बहुत शुक्रिया व आभार, सादर</p> आ० सुरेश भाईजी, प्रणाम! उ…tag:www.openbooksonline.com,2016-04-14:5170231:Comment:7574942016-04-14T06:31:27.803Zकेवल प्रसाद 'सत्यम'http://www.openbooksonline.com/profile/kewalprasad
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<div class="xg_user_generated"><p>आ० सुरेश भाईजी, प्रणाम! उत्साहवर्धन एवं बधाई के लिये आपका तहेदिल से बहुत-बहुत शुक्रिया व आभार, सादर</p>
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<div class="xg_user_generated"><p>आ० सुरेश भाईजी, प्रणाम! उत्साहवर्धन एवं बधाई के लिये आपका तहेदिल से बहुत-बहुत शुक्रिया व आभार, सादर</p>
</div> आदरणीय केवल प्रसाद जी निःशब्द…tag:www.openbooksonline.com,2016-04-12:5170231:Comment:7574702016-04-12T14:48:59.905ZSushil Sarnahttp://www.openbooksonline.com/profile/SushilSarna
<p>आदरणीय केवल प्रसाद जी निःशब्द हूँ आपकी कल्पना,भावों का मनमोहक शाब्दिक चित्रांकन ,अलंकारिक प्रतिबिम्बों से कथ्य में प्रभावोत्पादकता को चरम ऊंचाई से सुसज्जित करना हर किसी के लिए संभव नहीं। इस उत्कृष्ट सृजन के लिए दिल से बधाई स्वीकार करें आदरणीय। मां शारदे आपकी लेखनी पर सदा कृपा बरसाए। </p>
<p>आदरणीय केवल प्रसाद जी निःशब्द हूँ आपकी कल्पना,भावों का मनमोहक शाब्दिक चित्रांकन ,अलंकारिक प्रतिबिम्बों से कथ्य में प्रभावोत्पादकता को चरम ऊंचाई से सुसज्जित करना हर किसी के लिए संभव नहीं। इस उत्कृष्ट सृजन के लिए दिल से बधाई स्वीकार करें आदरणीय। मां शारदे आपकी लेखनी पर सदा कृपा बरसाए। </p> केवल प्रसाद जी निहाल कर दिया…tag:www.openbooksonline.com,2016-04-12:5170231:Comment:7574682016-04-12T14:39:13.472Zसुरेश कुमार 'कल्याण'http://www.openbooksonline.com/profile/SureshKumarKalyan
केवल प्रसाद जी निहाल कर दिया हिंदी साहित्य को<br />
इतनी सुन्दर रचना<br />
बार-बार पढने को मन करता है<br />
बधाई हो
केवल प्रसाद जी निहाल कर दिया हिंदी साहित्य को<br />
इतनी सुन्दर रचना<br />
बार-बार पढने को मन करता है<br />
बधाई हो आ० भ्रमर भाईजी, प्रणाम! उत…tag:www.openbooksonline.com,2016-04-08:5170231:Comment:7565432016-04-08T14:49:11.513Zकेवल प्रसाद 'सत्यम'http://www.openbooksonline.com/profile/kewalprasad
<p>आ० भ्रमर भाईजी, प्रणाम! उत्साहवर्धन एवं बधाई के लिये आपका तहेदिल से बहुत-बहुत शुक्रिया व आभार, सादर</p>
<p>आ० भ्रमर भाईजी, प्रणाम! उत्साहवर्धन एवं बधाई के लिये आपका तहेदिल से बहुत-बहुत शुक्रिया व आभार, सादर</p> आ० आशुतोष भाईजी, प्रणाम! उत्स…tag:www.openbooksonline.com,2016-04-08:5170231:Comment:7565422016-04-08T14:47:20.059Zकेवल प्रसाद 'सत्यम'http://www.openbooksonline.com/profile/kewalprasad
आ० आशुतोष भाईजी, प्रणाम! उत्साहवर्धन एवं बधाई के लिये आपका तहेदिल से बहुत-बहुत शुक्रिया व आभार, सादर
आ० आशुतोष भाईजी, प्रणाम! उत्साहवर्धन एवं बधाई के लिये आपका तहेदिल से बहुत-बहुत शुक्रिया व आभार, सादर बहुत सुन्दर। .एक एक शब्द गढ़ा…tag:www.openbooksonline.com,2016-04-06:5170231:Comment:7559982016-04-06T09:47:57.191ZSURENDRA KUMAR SHUKLA BHRAMARhttp://www.openbooksonline.com/profile/SURENDRAKUMARSHUKLABHRAMAR
<p>बहुत सुन्दर। .एक एक शब्द गढ़ा और बंधा हुआ -आज के हालात को प्रदर्शित करता हुआ। . बार बार पढ़ने को मन किया। .माह की सर्वश्रेष्ठ रचना हेतु बधाई <br/>भ्रमर ५</p>
<p>बहुत सुन्दर। .एक एक शब्द गढ़ा और बंधा हुआ -आज के हालात को प्रदर्शित करता हुआ। . बार बार पढ़ने को मन किया। .माह की सर्वश्रेष्ठ रचना हेतु बधाई <br/>भ्रमर ५</p> आदरणीय केवल भाई जी ..आपकी यह…tag:www.openbooksonline.com,2016-04-01:5170231:Comment:7551722016-04-01T04:13:32.663ZDr Ashutosh Mishrahttp://www.openbooksonline.com/profile/DrAshutoshMishra
<p>आदरणीय केवल भाई जी ..आपकी यह रचना माह की सर्वश्रेष्ट रचना है आपकी इस उपलब्धि पर हार्दिक बधाई सादर </p>
<p>आदरणीय केवल भाई जी ..आपकी यह रचना माह की सर्वश्रेष्ट रचना है आपकी इस उपलब्धि पर हार्दिक बधाई सादर </p> आदरणीय केवल भाई जी ..दोनों ही…tag:www.openbooksonline.com,2016-04-01:5170231:Comment:7552592016-04-01T04:11:22.291ZDr Ashutosh Mishrahttp://www.openbooksonline.com/profile/DrAshutoshMishra
<p>आदरणीय केवल भाई जी ..दोनों ही रचनाएँ बेहतरीन लगीं ..आज एक मुद्दत बाद आपकी रचना तक पहुंचना हुआ ..सादर बधायी स्वीकार करें </p>
<p>आदरणीय केवल भाई जी ..दोनों ही रचनाएँ बेहतरीन लगीं ..आज एक मुद्दत बाद आपकी रचना तक पहुंचना हुआ ..सादर बधायी स्वीकार करें </p> आ० प्रतिभा जी, सादर प्रणाम! …tag:www.openbooksonline.com,2016-03-20:5170231:Comment:7519532016-03-20T14:22:58.826Zकेवल प्रसाद 'सत्यम'http://www.openbooksonline.com/profile/kewalprasad
<p><span>आ० प्रतिभा जी, सादर प्रणाम! रचना पर आपका अनुमोदन एवं बधाई के लिये आपका तहेदिल से बहुत-बहुत शुक्रिया व आभार, सादर</span></p>
<p><span>आ० प्रतिभा जी, सादर प्रणाम! रचना पर आपका अनुमोदन एवं बधाई के लिये आपका तहेदिल से बहुत-बहुत शुक्रिया व आभार, सादर</span></p>